अटल जी की कविता से जनसंघ-भाजपा की यात्रा तक... PM मोदी आज करेंगे ‘राष्ट्र प्रेरणा स्थल’ का उद्घाटन!



लखनऊ। पूर्व प्रधानमंत्री अटल बिहारी वाजपेयी की जयंती के अवसर पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी आज राजधानी लखनऊ में बने भव्य ‘राष्ट्र प्रेरणा स्थल’ का उद्घाटन कर इसे देश को समर्पित करेंगे। यह ऐतिहासिक स्मारक अटल बिहारी वाजपेयी, भारतीय जनसंघ के संस्थापक श्यामा प्रसाद मुखर्जी और पं. दीनदयाल उपाध्याय के विचारों, संघर्ष और राष्ट्र निर्माण में उनके योगदान को समर्पित है। हरदोई रोड पर गोमती नदी के तट पर 65 एकड़ में फैला यह स्मारक कमल के आकार में निर्मित किया गया है। लगभग 230 करोड़ रुपये की लागत से बने इस राष्ट्र प्रेरणा स्थल को आने वाली पीढ़ियों के लिए प्रेरणा का केंद्र बताया जा रहा है।
65 फीट ऊंची मूर्तियां बनीं मुख्य आकर्षण
परिसर का सबसे बड़ा आकर्षण अटल बिहारी वाजपेयी, श्यामा प्रसाद मुखर्जी और दीनदयाल उपाध्याय की 65 फीट ऊंची कांस्य मूर्तियां हैं। एलडीए अधिकारियों के मुताबिक, प्रत्येक मूर्ति का वजन करीब 42 टन है और ये राजधानी में स्थापित सभी महापुरुषों की मूर्तियों में सबसे ऊंची हैं। मूर्तियों के चारों ओर जलकुंड बनाया गया है, जो स्मारक को भव्य स्वरूप देता है।
जनसंघ से भाजपा तक की ऐतिहासिक यात्रा
राष्ट्र प्रेरणा स्थल में बना दो मंजिला आधुनिक संग्रहालय इसकी पहचान है। करीब 6300 वर्ग फीट क्षेत्र में फैले इस म्यूजियम में पांच गैलरियां और 12 इंटरप्रिटेशन वॉल बनाई गई हैं। यहां अटल जी की कविताएं और भाषण, जनसंघ की स्थापना, 1952 के चुनाव, दीपक चुनाव चिन्ह, श्यामा प्रसाद मुखर्जी और दीनदयाल उपाध्याय के राष्ट्रवादी विचारों को ऑडियो-विजुअल माध्यम से प्रस्तुत किया गया है।
आधुनिक सुविधाओं से सुसज्जित परिसर
राष्ट्र प्रेरणा स्थल में 3000 सीटों वाला एम्फीथिएटर, ध्यान व योग केंद्र, सांस्कृतिक व म्यूजिकल ब्लॉक, हेलीपैड, विशाल रैली ग्राउंड (2 लाख से अधिक लोगों की क्षमता) जैसी सुविधाएं मौजूद हैं। उद्घाटन समारोह में प्रधानमंत्री मोदी के संबोधन के दौरान करीब दो लाख लोगों के शामिल होने की संभावना जताई जा रही है।
फूलों से सजा लखनऊ
उद्घाटन से पहले पूरे परिसर को देश के विभिन्न हिस्सों से लाए गए फूलों से सजाया गया है। आयोजन स्थल तक जाने वाली सड़कों की विशेष सफाई, सजावट और स्ट्रीट लाइटों की मरम्मत भी कराई गई है। पार्टी सूत्रों के अनुसार, यह देश का पहला ऐसा स्मारक है, जहां अटल बिहारी वाजपेयी, श्यामा प्रसाद मुखर्जी और दीनदयाल उपाध्यायकृतीनों की भव्य मूर्तियां एक ही परिसर में स्थापित की गई हैं। यह स्थल न केवल स्मृति केंद्र होगा, बल्कि युवाओं को राष्ट्रवाद, सेवा और समर्पण की भावना से जोड़ने वाला प्रेरणा स्थल बनेगा।

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