कौन हैं एडीसीपी अंजली विश्वकर्मा....जिनका डील शब्द पर हुई एमएलसी अरुण पाठक से तीखी बहस!


लखनऊ। प्रदेश के कानपुर के ग्रीन पार्क मैदान में एडीसीपी अंजली विश्वकर्मा और एमएलसी अरुण पाठक के बीच गनर को लेकर शुरू हुआ विवाद ‘डील’ शब्द पर आकर बढ़ गया। दरअसल, एडीसीपी ने एसीपी कैंट से कहा, “तुम रुको, मैं इन्हें एक कार्यक्रम के दौरान डील कर चुकी हूं।” इतना कहते ही अरुण पाठक नाराज हो गए और उन्होंने ‘डील’ का मतलब साफ करने के लिए कहा, जिसके बाद एडीसीपी वहां से चली गईं। इस कहासुनी की चर्चा पूरे सोशल मीडिया पर हो रही है। इसी बीच चलिए आपको आईपीएस अंजली विश्वकर्मा के बारे में बताते हैं। वह कौन हैं, कैसे वह इंजीनियर, फिर आईपीएस बनीं और अब एडीसीपी के पद पर कार्यरत हैं।
दरअसल, आईपीएस अंजलि विश्वकर्मा उत्तराखंड के देहरादून की रहने वाली 2021 बैच की आईपीएस अधिकारी हैं। उनका जन्म 11 जनवरी 1993 को देहरादून में हुआ। उनके पिता अरुण कुमार ऑर्डिनेंस फैक्ट्री में इंजीनियर थे। जबकि मां नीलम विश्वकर्मा गृहिणी हैं। देहरादून के सहस्त्रधारा रोड स्थित अपने घर में पली-बढ़ी अंजली ने कॉन्वेंट ऑफ जीसस एंड मैरी स्कूल से 2009 में हाईस्कूल और 2011 में 97.7 प्रतिशत अंकों के साथ इंटरमीडिएट पास किया। इसके साथ ही वह उत्तराखंड की स्टेट टॉपर भी बनीं।
बचपन में डॉक्टर बनने का सपना देखने वाली अंजली की दिलचस्पी बाद में इंजीनियरिंग में हो गई। उन्होंने आईआईटी कानपुर से नेविगेशन इंजीनियरिंग में बीटेक पूरा किया और 2015 में एक विदेशी कंपनी में 48 लाख रुपये सालाना के पैकेज पर नौकरी हासिल की. मैक्सिको, नार्वे, यूके, मलेशिया, सिंगापुर, अबू धाबी और न्यूजीलैंड जैसे देशों में काम करने का एक्सपीरियंस अंजली के लिए अचीवमेंट्स से भरा रहा। तीन साल विदेश में काम करने के बाद 2018 में अंजली ने नौकरी छोड़ दी और यूपीएससी की तैयारी शुरू की। पहली कोशिश में असफलता मिली, लेकिन हार न मानते हुए उन्होंने दूसरे प्रयास में यूपीएससी क्रैक कर लिया और आईपीएस बनकर उत्तर प्रदेश कैडर में शामिल हुईं। उनकी पहली तैनाती झांसी में हुई, जहां उन्होंने एक नाबालिग लड़की के अपहरण के मामले को सुलझाया। सर्विलांस और सीसीटीवी फुटेज की मदद से उन्होंने लड़की को महाराष्ट्र से बरामद कर अपराधी को गिरफ्तार किया. अंजली की पर्सनल लाइफ भी प्रेरणादायक है. उनकी मुलाकात आईआईटी कानपुर में उदित पुष्कर से हुई, जो उनके 12 साल पुराने दोस्त और अब जीवनसाथी हैं। दोनों ने एक साथ यूपीएससी क्लियर किया और 2021 बैच में आईपीएस बने। उदित छत्तीसगढ़ कैडर में सेवारत हैं। कानपुर में अंजली विश्वकर्मा पहले एसीपी के पद पर कार्यरत थीं और बाद में उनका प्रमोशन हो गया। वर्तमान में अंजली एडीसीपी पूर्वी के पद पर कार्यरत हैं।

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