कोतवाली में घुसकर दरोगा को पीटने के लिए पुलिस से भिड़े भाजपाई...जमकर हुई धक्कामुक्की!


लखीमपुर खीरी। लखीमपुर खीरी में दूसरे जिले के भाजपा सांसद की रिश्तेदार से छेड़खानी और मारपीट के मामले में शुक्रवार को कोतवाली में रातभर जमकर हंगामा हुआ। नारकोटिक्स विभाग में तैनात आरोपी दरोगा अभय मिश्रा के विरुद्ध कार्रवाई की मांग को लेकर सदर के भाजपा विधायक योगेश वर्मा के साथ धरने पर बैठे उनके तमाम समर्थक इतने आक्रोशित हो गए कि वे कोतवाली के अंदर कमरे में बैठे दरोगा को पीटने के लिए पुलिस से भिड़ गए। कई समर्थक अंदर कमरे तक पहुंच गए तो इंस्पेक्टर, दरोगा समेत अन्य पुलिसकर्मियों ने सभी को धकेलना शुरू किया। एक समर्थक का कॉलर पकड़ा और उसे बरामदे से बाहर कर दिया। इस दौरान भाजपा नेताओं और पुलिसकर्मियों के बीच जमकर धक्का-मुक्की हुई। घटना का वीडियो भी वायरल हुआ है। पुलिस वालों के धक्का देने पर भाजपाइयों ने नारेबाजी करते हुए देख लेने की धमकी दे डाली। माहौल बिगड़ता देख कुछ वरिष्ठ नेताओं ने समर्थकों को शांत कराया।

दरअसल, सदर कोतवाली पुलिस सांसद की रिश्तेदार से छेड़छाड़ कर अभद्रता करने वाले नशे में धुत आरोपी दरोगा का मेडिकल नहीं कराना चाह रही थी। पुलिस मामले को टालने की फिराक में थी। पुलिस की कार्यशैली देखकर समर्थकों में आक्रोश बढ़ गया। इसके बाद सदर विधायक, पालिकाध्यक्ष के समर्थकों के साथ धरने पर बैठने से पुलिस के आला अधिकारियों के हाथ पांव फूल गए। कोतवाली में दर्ज कराई रिपोर्ट में पीड़ित महिला ने बताया कि देर रात उनके घर होली मिलने के लिए मेहमान आए थे। तभी किराये पर रह रहे दरोगा अभय मिश्रा नशे में धुत होकर आए और गाली गलौज करने लगे। मना करने पर मारपीट शुरू कर दी। दरोगा की पत्नी और बेटी ने भी मारपीट में साथ दिया। हाथ पकड़कर खींच लिया। कोतवाली पुलिस ने आरोपी दरोगा का मेडिकल कराते हुए धारा 323, 354 ख, 504, 506 में मुकदमा दर्ज किया है। मामले में दरोगा की पत्नी व बेटी के विरुद्ध भी कार्रवाई की है।

आरोपी दरोगा अभय मिश्रा नारकोटिक्स सेल में तैनात है। उस पर छेड़छाड़ और मारपीट के आरोप में कोतवाली में मुकदमा दर्ज है। अधिकारियों ने मामले की जानकारी चुनाव आयोग को पत्र भेजकर दी है। साथ ही दरोगा को निलंबित करने की संस्तुति मांगी है। देर शाम तक चुनाव आयोग की ओर से हरी झंडी मिलने की उम्मीद है। इसके बाद दरोगा को निलंबित किया जाएगा। कोतवाली पुलिस ने आरोपी दरोगा को हिरासत में ले लिया है। दरोगा को बचाने के लिए कोतवाली पुलिस ने पूरा प्रयास किया लेकिन सदर विधायक की जिद के आगे पुलिस की एक न चली। परिजन लगातार दरोगा के नशे में होने की बात कह रहे थे जबकि पुलिस मेडिकल न कराने की बात कह रही थी। दबाव ज्यादा पड़ने पर कोतवाली पुलिस ने दरोगा को मेडिकल कराने के लिए ओयल जिला अस्पताल भेजा, जहां पर डाक्टरों की जांच आरोपी दरोगा के नशे में होने की पुष्टि हुई। इधर पीड़िता का भी मेडिकल कराया गया। चिकित्सीय परीक्षण के बाद महिला के शरीर में नौ जगहों पर चोटों के निशान मिले हैं। एएसपी पूर्वी पवन गौतम ने बताया कि विधायक के धरने पर बैठने की खबर के बाद मौके पर गया था। विधायक दरोगा के खिलाफ कार्रवाई किए जाने की मांग कर रहे थे। पीड़ित महिला की तहरीर पर आरोपी दरोगा के खिलाफ विभिन्न धाराओं में मुकदमा दर्ज कर लिया गया है। आगे की कार्रवाई की जा रही है।

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