आजमगढ़। जिले के फूलपुर थाना क्षेत्र के ग्राम कौड़िया में पिता की तहरीर पर पुलिस ने कब्र में दफन मृतक पुत्री का शव बाहर निकाल कर चिकित्सकीय परीक्षण के लिए भेजा है। पिता का आरोप है कि उनका दामाद पुत्री को अक्सर मारता-पीटता था और तलाक की धमकी देता था विरोध करने पर गला दबाकर पुत्री की हत्या कर दिया। पुलिस मामले की छानबीन कर रही है। दरअसल, ग्राम कौड़िया निवासी परवेज आलम पुत्र रमजान के बड़े पुत्र जमाल 35 की शादी देवगाव कोतवाली के वैरिडीह निवासी हारून पुत्र अकबाल की पुत्री सिदराबानो की शादी दस वर्ष पूर्व हुई थी। इन वर्षाे में सिदरा ओर जमाल से तीन सन्तान पैदा हुई दो पुत्री एक पुत्र दोनों पुत्रियां बड़ी है। मिली जानकारी के अनुसार जमाल की दस वर्षीय बड़ी पुत्री इलमा मानसिक स्थित ठीक नही जिसकी वजह से सिदरा चिंतित रहती थी। पचीस मई को मतदान के दिन सभी मतदान केंद्र से मतदान करके वापस आये और दस्तर खान पर एक साथ खाने के लिए बैठे सिदरा सभी के लिए खाना ला रही थी खाने का प्लेट साफ ना रहना और दाल में नमक ना होने के कारण पत्नी को जमाल ने डाट फटकार लगा दी। जिससे नाराज होकर सिदरा अपने रूम में गयी और दरवाजा बंद कर लिया पति को व परिजन को कुछ शंका हुई कि सिदरा आज दरवाजा क्यो बन्द कर ली। पति ही मनाने की गरज से रूम के पास पहुच कर दरवाजा पर दस्तक दी। कई बार दस्तक देने पर दरवाजा नही खुला तो जमाल अन्य के साथ दरवाजा तोड़ दिया और सभी देखे सिदरा गले मे दुपट्टा लपेटे चारपाई पर बेहोश पड़ी है। परिजन तत्काल फूलपुर स्थित ताहिर मेमोरियल अस्पताल ले गए। वहां से जवाब मिलने पर जिला मुख्यालय स्थित रमा अस्पताल ले गये। जहां इलाज के दौरान सिदराबानो की मृत्यु हो गयी। इस हादसे की जानकारी सिदरा के पिता हारून को भी दिया गया। बैरिडीह से हारून उनका भतीजा और अन्य महिलाएं भी आ गयी थी। सभी अस्पताल से ग्राम कौड़िया आये जहां आपसी सहमति बनी और प्रधान कौड़िया मानवती के लेटर पैड पर सहमति पत्र बना 26 मई कौड़िया के कब्रिस्तान में सिदराबानो का शव दफन कर दिया गया। चार दिन बाद 30 मई को सिदराबानो के पिता हारून पुत्र अकबाल ने थाना प्रभारी फूलपुर को लिखित तहरीर देकर दामाद जमाल, समधी परवेज, समधन शाहरुनिशा के खिलाफ फाँसी लगाकर मारपीट कर जान से मारने की तहरीर दी। आरोप लगाया कि बेटी का पति जमाल आये दिन मारता-पिटता था प्रताड़ित करता था कई बार तलाक देकर छोड़ने की बात किया करता था मेरी बेटी बताती थी अपने दामाद जमाल को कई बार समझाने का प्रयास किया पर अंत मे मेरी पुत्री को ही मार डाले। इस संबंध में प्रभारी निरीक्षक शशिचन्द्र चौधरी ने बताया कि हारून की लिखित तहरीर मिली। तभी से जांच प्रक्रिया शुरू कर दी गयी चूंकि शव दफन कर दिया गया था तो शव को कब्र से बाहर निकलवाने के लिए मजिस्टेट की अनुमति आवश्यक है उपजिलाधिकारी निजामाबाद को रिपोर्ट प्रस्तुत कर दी गयी जहा से अनुमति प्राप्त हुई। एक जून को शव कब्र से निकालने के लिए नायब तहसीलदार निजामाबाद वीरेंद्र कुमार, राजस्व निरीक्षक नन्दलाल, महिला दरोगा प्रियंका तिवारी, सब इंस्पेक्टर गंगा प्रसाद विन्द, अरविंद तिवारी, अरविंद यादव की एक टीम गठित की गई। थाना प्रभारी शशिचन्द चौधरी भारी पुलिस बल के साथ कौड़िया कब्रिस्तान पहुचंे। जहां पुलिस राजस्व विभाग की गठित टीम द्वारा कब्र की खुदाई करा कर शव बाहर निकालकर जिला अस्पताल भेज दिया गया। प्रभारी निरीक्षक ने बताया कि कब्र के पास पुलिस बल तैनात है। चिकित्सकीय परीक्षण के बाद पुनः शव को कब्र में दफन कर दिया जाएगा।
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