पुलिस न परतापुर थाना क्षेत्र की पूठा रोड पर चेकिंग के दौरान एक कार को रुकवाया था। कार में दो युवती और दो युवक बैठे हुए थे। तभी वहां पर एक बाइक आकर रुकी, बाइक सवार बचाव में खड़े हो गए। मामला संदिग्ध देखकर पुलिस सभी को थाने लेकर आ गई। पूछताछ में इस बात जानकारी सामने आई कि यह लोग हनीट्रैप में फरार चल रही गैंग के सदस्य हैं।
एसपी सिटी आयुष विक्रम सिंह ने बताया कि हमें शालू शर्मा नाम की युवती ने तहरीर दी थी। उसने पतारपुर के रहने वाले एक युवक पर रेप का आरोप लगाया था। केस की जांच में रेप की शिकायत फर्जी निकली। हमने आरोपी से पूछताछ की तो उसने बताया कि शालू ने उससे 10 लाख रुपए की मांग की थी और केस वापस लेने के लिए कहा गया था। इसके बाद जांच में शालू के बारे में कई सनसनीखेज खुलासे हुए. इसके साथ एक और महिला भी सामने आई, जो खुद को शालू की भाभी बता रही थी। युवक ने पूछताछ में बताया कि शालू ने पहले उससे दोस्ती की, फिर सहमति से संबंध बनाए और इसके बाद उसे धमकाने लगी। शुरुआत में उसने कुछ रुपए शालू को दिए लेकिन शालू की डिमांड बढ़ती गई और अलग-अलग तरह से वो उसे धमकियां देती रही।
सिमरन उर्फ रूहीना ने फिरोज के कहने पर सुमैया से दोस्ती की थी। इसके बाद फिरोज ने दोनों को पैसे कमाने का तरीका बताया और फिर इस पर काम शुरू हो गया। उसने अपने चार और साथियों को गैंग में शामिल किया। एक युवक को फंसाने के बाद गैंग के सभी लोग अपना अलग-अलग रोल अदा करने लगते थे। व्यकित को जाल में फंसाने के लिए कोई भाई बनता, तो कोई चाचा। इसके बाद ये लोग फंसाए गए युवक से पैसों की डिमांड करते। पैसे न देने पर रेप की झूठी तहरीर थाने में दे देते। फिर सुलह का दबाव बनाया जाता और रुपये ऐंठे जाते।
पकड़ी गई महिला शालू शर्मा अपनी पहचान बदलकर लोगों को फंसाती थी। महिला के पास शालू शर्मा नाम का आधार कार्ड मिला, जो जांच में नकली निकला। जबकि आरोपी महिला के पैनकार्ड में उसका नाम सुमैया पुत्री अजर मुस्तफा लिखा हुआ था। युवती सोशल मीडिया पर युवकों को फंसाती थी, जिसके बाद मिलने के लिए युवकों को होटल बुलाया जाता था। होटल में मिलने के बाद महिला युवकों से सहमति से शारीरिक संबंध बनाती थी और उस दौरान छिपकर वीडियो बनाई जाती थी और फिर शुरू होता था ब्लैकमेल करने का काम। होटल के बाहर शालू अपने गैंग के सदस्यों को बुला लेती थी और जैसे ही वह लोग होटल के बाहर आते तो युवक को बोला जाता था कि उसके चाचा और भाई आ गए हैं और वो लोग पकड़े गए हैं। गैंग में जुड़े बाकी लोग गाड़ी में युवक को बैठा लेते थे और उसके साथ मारपीट कर पैसों की डिमांड की जाती थी। गैंग के पकड़े जाने के बाद ये खुलासा हुआ। गैंग में आसिफ जो दिल्ली के राजीव नगर का रहने वाला है, अनिकेत जो मेरठ कसेरुखेड़ा का रहने वाला है, दीपक निवासी भोजपुर गाजियाबाद, फिरोज जो निवासी राजीव नगर बैंक कालोनी मंडौली थाना दिल्ली का है, इनके अलावा फहीम निवासी शहीद नगर साहिबाबाद गाजियाबाद और दो युवतियां सिमरन उर्फ रुहीना खान निवासी अशोक मोहल्ला मौजपुर उत्तर पूर्व दिल्ली और सुमैया खान उर्फ शालु निवासी मधु विहार दिल्ली शामिल हैं।
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