मुख्तार की आंखों में आंसू, गुमसुम बैठा... सजा से दुखी अंसारी ने पानी पीकर खोला रोजा!


बांदा। पूर्वांचल के माफिया और बांदा जेल में बंद मुख्तार अंसारी बुधवार को फर्जी शस्त्र लाइसेंस मामले में आजीवन कारावास की सजा सुनकर सदमा बर्दाश्त नहीं कर पाया। सजा सुनते ही सिर में हाथ रखकर बैठ गया, कुछ ही देर में उसकी आंखों में आंसू भर आए। 9 माह के अंदर दूसरी बार उम्र कैद की सजा से गमजदा मुख्तार ने शाम को केवल पानी पीकर रोजा तोड़ा, इफ्तार भी नहीं किया। मुख्तार वाराणसी कोर्ट में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए पेश हुआ था।

36 साल पुराने फर्जी शस्त्र लाइसेंस मामले में बुधवार को एमपी एमएलए कोर्ट वाराणसी में मुख्तार अंसारी की पेशी थी। जिसे सुरक्षा कारणों के चलते वाराणसी नहीं भेजा गया। बांदा जेल में रहते हुए वह वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के जरिए कोर्ट में पेश हुआ। कोर्ट ने जब दोपहर बाद उसे इस मामले में आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई तो वह सदमा बर्दाश्त नहीं कर पाया। अपना सिर पकड़कर जमीन में काफी देर तक बैठा रहा। इस दौरान उसके आंखों में आंसू भर आए। काफी देर तक गुमसुम बैठे हुए मुख्तार को देखकर जेल के कर्मचारी डर गए, उन्होंने फौरन उसे जेल की तनहाई बैरक में शिफ्ट किया और कुछ देर बाद डॉक्टर ने जाकर बीपी चेक किया। 2 घंटे बाद दोबारा उनका बीपी चेक किया गया। बीपी सामान्य होने पर जेल प्रशासन ने राहत की सांस ली।

शाम के समय जब जेल में बंद अन्य बंदियों ने नमाज के बाद रोजा इफ्तार किया। उस समय मुख्तार अंसारी ने केवल पानी पीकर रोज तोड़ा, लेकिन सामने खानें की प्लेट होने के बावजूद भी उसने कुछ भी नहीं खाया और गुमसुम बैठा रहा। कुछ देर के बाद अपने बैरक में चला गया।जेल अधीक्षक विरेश शर्मा ने बताया कि कल वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के बाद जेल के डॉक्टर ने उनका चेकअप किया था। बीपी सामान्य पाया गया। फिलहाल उनकी सीसीटीवी के जरिए लगातार निगरानी की जा रही है।

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