एमपी-एमएलए कोर्ट ने बलवा व मारपीट मामले में सुनाई सजा
सपा के बाहुबली विधायक रमाकांत यादव के विरूद्ध यह मुकदमा जौनपुर नगर कोतवाली में पांच दिसंबर 2019 को दर्ज कराया गया था। पुलिस को दिए शिकायती पत्र में पीड़ित मित्रसेन सिंह ने आरोप लगाया कि बाइक से जाते समय होटल रीवर व्यू के सामने रमाकांत यादव के काफिले में सवार लोगों ने डंडे से हमला किया। इस हमले में पीड़ित गिर गया। जिसके बाद रमाकांत यादव की टीम ने पीड़ित के सीने पर राइफल सटाकर जान से मारने की धमकी दी थी। इस मामले में पीड़ित मित्रसेन सिंह ने जौनपुर नगर कोतवाली में मुकदमा दर्ज कराया था। 1977 में रमाकांत यादव पर आजमगढ़ जिले के दीदारगंज थाने में दर्ज हुआ जो समय के साथ बढ़ता गया। पुलिस रिकार्ड के अनुसार रमाकांत यादव पर हत्या, हत्या के प्रयास जैसे गंभीर 50 से अधिक मुकदमें दर्ज हैं।
इस बारे में अधिवक्ता अमरनाथ सिंह ने बताया कि रमाकांत यादव पर दर्ज मामलों में चारों में अलग-अलग सजा सुनाई गई है। एक मामले में चार माह, जबकि दो मामलों में दो-दो माह की सजा और एक मामले में एक माह की सजा सुनाई गई है। रमाकांत यादव को फत्तेगढ़ जेल से पेशी के लिए जौनपुर लाया गया था। इस मामले की सुनवाई कोर्ट में चल रही थी। उसी मुकदमे में ट्रायल चल रहा था जिसके तहत रमाकांत यादव को यह सजा सुनाई गई। जिले के अहिरौला थाना क्षेत्र के माहुल में फरवरी 2022 में जहरीली शराब से 13 से अधिक मौतें हो गई थी। यह जहरीली शराब जिस ठेके से बिकी थी वह ठेका रमाकांत यादव के भांजे रंगेश यादव का था। इस घटना में रमाकांत यादव भी मुल्जिम है। हाल ही में आजमगढ़ कोर्ट में पेशी के दौरान सरकार पर उत्पीड़न करने का आरोप भी लगाया था।
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