पूर्वी पाकिस्तान के 63 हिंदू परिवारों को बसाएगी योगी सरकार

खेती के लिए दो-दो एकड़ और घर बनाने को मिलेगें 200 वर्ग मीटर जमीन 



लखनऊ। मेरठ के हस्तिनापुर में पचास साल से रह रहे पूर्वी पाकिस्तान के 63 हिंदू बंगाली परिवारों को अब रसूलाबाद के भैसायां गांव के मजरा महेन्द्र नगर में बसाया जाएगा। रविवार को अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह ने मौके पर पहुंच कर जमीन देखी। उन्होंने रसूलाबाद के गेस्ट हाउस में बैठकर अफसरों से पूरी कार्ययोजना समझी। शरणार्थियों के लिए रोजगार के भी इंतजाम किए जा रहे हैं। गौरतलब है कि 11 नवंबर को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने कैबिनेट बाई सर्कुलेशन में इन परिवारों का नए सिरे से पुनर्वास करने का प्रस्ताव पास किया था। इन परिवारों को खेती के लिए दो-दो एकड़ और घर बनाने को 200 वर्ग मीटर जमीन दिया जाएगा। साथ ही मकान बनाने के लिए मुख्यमंत्री आवास योजना से पैसा दिया जाएगा।

प्रदेश में वर्ष 1970 में पूर्वी पाकिस्तान से 65 बंगाली परिवार आए थे। इन्हें रोजगार देकर हस्तिनापुर के मदन सूत मिल में पुनर्वास किया गया। 1984 में यह मिल बंद हो गई। दो परिवारों के इसी दौरान मृत्यु हो गई। इसके चलते 63 हिंदू बंगाली परिवारों के सामने रोजी-रोटी का संकट खड़ा हो गया। ऐसे परिवार पिछले 37 साल से संघर्ष कर रहे थे। महेन्द्र नगर में पहले से शरणार्थी रह रहे हैं। 1971 में ही बांग्लादेश से आए कई परिवारों को रसूलाबाद के महेन्द्र नगर में बसाया गया था। यहां पर 300 एकड़ जमीन चिह्नित की गई है। अब पूर्वी पाकिस्तान से आए इन परिवारों को भी इसी जमीन पर बसाने की तैयारी है। रविवार को अपर मुख्य सचिव मनोज कुमार सिंह रसूलाबाद पहुंचे। अफसरों संग बैठक कर कार्ययोजना भी परखी और फिर वह सीधे महेन्द्र नगर पहुंचे। उन्होंने पहले से बसे बंगाली परिवारों से बात की और नए परिवारों को बसाने के लिए चिह्नित जमीन देखी। उन्होंने प्राइमरी स्कूल में बैठकर परिवारों की समस्याएं सुनीं और डीएम को इन परिवारों की समस्या दूर करने के निर्देश दिए। उन्होंने लहरापुर मार्ग को दुरुस्त कराने के लिए सीडीओ सौम्या पांडेय को निर्देशित किया।

Post a Comment

0 Comments